गंगोत्तरी धाम के कपाट हुए बन्द : मुखबा पहुँची डोली – Polkhol

गंगोत्तरी धाम के कपाट हुए बन्द : मुखबा पहुँची डोली

गंगोत्तरी धाम के कपाट हुए बन्द

माँ गँगा की डोली मुखबा पहुंची

देवस्थानम बोर्ड के मीडिया प्रभारी डॉ हरीश गौड़ ने बताया कि 16 नवंबर को भैयादूज के अवसर पर श्री केदारनाथ धाम के कपाट प्रात: 8.30 बजे और श्री यमुनोत्री धाम के कपाट दिन 12 बजकर 15 मिनट पर बंद होंगे। जबकि श्री बदरीनाथ धाम के कपाट गुरुवार 19 नवंबर शाम 3 बजकर 35 मिनट पर बंद होंगे।

देहरादून / उत्तरकाशी। गंगोत्री धाम के कपाट आज शीतकाल के लिए बंद हो गए हैं। विधि विधान के साथ 12 बजकर 15 मिनट पर कपाट बंद हुुुए।

इस अवसर पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु व तीर्थपुरोहित मौजूद रहे। शीतकाल में मां गंगा की मुखबा में पूजा अर्चना होगी।

अन्नकूट पर्व के शुभ मुहूर्त पर गंगोत्री धाम में सुबह साढ़े बजे उदय बेला पर मां गंगा के मुकुट को उतारा गया, जिसके बाद भोगमूर्ति डोली में विराजित की गई। इस बीच श्रद्धालुओं नेमां गंगा की भोग मूर्ति के दर्शन किए।

अमृत बेला, अभिजीत मुहूर्त पर ठीक दोपहर 12 बजकर 15 मिनट पर मां गंगा की डोली गंगोत्री मंदिर के अंदर से परिसर में लाई गई। इस दौरान पूरा परिसर जयकारों से गूंज उठा, जिसके बाद कपाट बंद होने की प्रक्रिया शुरू हुई।

कपाट बंद होने के बाद मां गंगा की उत्सव डोली शीतकालीन प्रवास मुखबा के लिए रवाना हुई। इस अवसर पर गंगोत्री मंदिर समिति अध्यक्ष सुरेश सेमवाल, दीपक सेमवाल, राजेश सेमवाल, हरीश सेमवाल आदि के साथ ही पुलिस व प्रशासन के अधिकारी मौजूद रहे। कपाट बंद होने और उत्सव डोली के प्रस्थान के दौरान सोशियल डिस्टेंसिंग का पालन किया गया।

ज्ञात हो कि द्वितीय केदार श्री मद्महेश्वर जी के कपाट भी 19 नवंबर को प्रात: 7 बजे बंद होंगे। वहीं, इस बार श्री मद्महेश्वर की उत्सव डोली 22 नवंबर को शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर उखीमठ पहुंच रही है। इसी दिन श्री मद्महेश्वर मेला भी आयोजित होता है।

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