राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कहा कोरोना महामारी में चिकित्सकों की मानव सेवा बेमिसाल रही

लखनऊ, कोरोना महामारी के दौरान चिकित्सकों की मानव सेवा बेमिसाल रही है। कठिन समय में वे निरंतर कार्य करते रहे हैं। वैसे भी जब हम अस्वस्थ होते हैं तो हमें चिकित्सकीय सलाह की जरूरत होती है। रोगी व उसके परिवार के लिए चिकित्सक ही उम्मीद की किरण होते हैं। अभी हमने डाक्टर्स डे मनाया है। मैं समस्त चिकित्सकों को मनुष्य की जीवन रक्षा के लिए किये जाने वाले प्रयासों के लिए बधाई देती हूं। ये बातें राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने रविवार को अमेरिकन एसोसिएशन आफ फिजिशियन आफ इंडियन ओरिजिन (आपी) के 39वें सम्मेलन में राजभवन से आनलाइन जुड़कर कहीं। एसोसिएशन में भारतीय मूल के 80 हजार से अधिक सदस्य संयुक्त राज्य अमेरिका में चिकित्सकीय कार्य कर रहे हैं।

राज्यपाल ने कहा कि भारतीय मूल के चिकित्सक संगठन ने दुनिया भर में मानवता की सेवा करने के लिए ऐतिहासिक व गौरवशाली यात्रा की है। कोविड काल के दौरान भारत में आक्सीजन आपूर्ति में व जीवन रक्षा में आपके संगठन ने सहायता की थी। संगठन भविष्य में भी मानवता की सेवा करता रहेगा। कहा कि विदेश में बसे भारतीय मूल के निवासियों के अनेक संगठन हैं जो अपनी जड़ों से जुड़ाव महसूस करते हैं, सदैव सामाजिक व आर्थिक कार्यों में अपना सहयोग देते हैं। उन्होंने कहा कि भारत हमेशा से ही स्वास्थ्य और स्वच्छता के मुद्दों के प्रति बहुत संवेदनशील रहा है। हमारा मानना है कि रोकथाम उपचार से बेहतर है। प्राचीन काल से हमारे देश में योग और आयुर्वेद की परंपरा रही है। विश्व ने योग की ताकत को समझा है। प्रधानमंत्री के सक्षम नेतृत्व में स्वास्थ्य संबंधी बुनियादी ढांचे में क्रांतिकारी परिवर्तन हुए हैं। कोरोना काल में हमने भारतीय वैक्सीन का निर्माण कर अपनी चिकित्सकीय एवं वैज्ञानिक क्षमता का परिचय दिया है। केंद्र व राज्य सरकारें सभी नागरिकों को निश्शुल्क वैक्सीन लगाने का कार्य कर रही हैं। सम्मेलन में संगठन के अध्यक्ष डा. सुधाकर, संरक्षक ट्रस्टी डा. सुधीर पारिख, कार्यक्रम के समन्वयक डा. श्रीनी गंगासनी, डा. सजनी शाह, डा. सुरेंद्र पुरोहित, डा. रघु सहित बड़ी संख्या में संगठन से जुड़े भारतीय मूल के चिकित्सक उपस्थित थे।

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