धर्म बदलने पर आरक्षण खत्म करने की मांग लोकसभा में गूंजी – Polkhol

धर्म बदलने पर आरक्षण खत्म करने की मांग लोकसभा में गूंजी

दिल्ली:  हिंदू धर्म में आरक्षण का लाभ पाने वाले व्यक्ति को धर्म बदलने की स्थिति में उसके लिए आरक्षण की सुविधा खत्म करने की शुक्रवार को लोकसभा में मांग की गई।

लोकसभा में भारतीय जनता पार्टी के निशिकांत दुबे ने शून्यकाल में यह मुद्दा उठाते हुए कहा कि हिंदू धर्म में रहते हुए अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, पिछड़ा वर्ग आदि समुदाय से जुड़े लोगों को आरक्षण का लाभ मिलता है क्योंकि आरक्षण की व्यवस्था इन वर्गों के लिए संविधान निर्माताओं ने संविधान में की है और देश की संसद इन समुदायों से जुड़े लोगों को यह अधिकार दे रही है लेकिन ऐसे लोग धर्म परिवर्तन करने पर भी इन सुविधाओं का लाभ उठा रहे हैं।

उन्होंने कहा कि अनुसूचित जाति, जनजाति तथा पिछड़े वर्ग से कई लोग हिंदू धर्म छोड़कर इस्लाम, ईसाई या बौद्ध धर्म अपनाते हैं तो उन उन्हें धर्मों का सदस्य बनने पर उन्हे हिंदू धर्म में मिलने वाली आरक्षण की सुविधाएं नहीं दी जानी चाहिए और इसे खत्म करने के लिए सरकार को तत्काल कदम उठाने चाहिए।

यूं तो अभी तब ऐसा बहुत बार देखा गया है की लोग आरक्षण के लालच में या कभी कुछ फायदों के लिए धर्म बदलने के लिए राज़ी हो जाते है। और आरक्षण और धर्म से जुड़े फायदों को भी पाते है, लेकिन सवाल तब उठता है जब वह पुराने धर्म से जुड़े फ़ायदे और आरक्षण का भी लाभ उठाते हैं, ऐसा करने से न सिर्फ उस धर्म के लोगों के हितों और अधिकारों का हनन होता बल्कि जो रिजर्वेशन यानी आरक्षण के दायरे में नहीं आते उनके साथ छल सा मालूम पढ़ता हैं और परिश्रम के बाद भी अपने सपनों को पूरा नहीं कर पाते।

 

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