भोपाल: मध्यप्रदेश विधानसभा में आज आदिवासीबहुल गांवों में बिजली व्यवस्था और अन्य मुद्दों को लेकर मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के सदस्यों ने सरकार के जवाब से असंतुष्टि जताते हुए बहिर्गमन कर दिया।
सरकार आदिवासीबहुल इलाकों में इन कार्यक्रमों में राशि खर्च नहीं कर रही : झूमा सोलंकी
प्रश्नकाल के दौरान मूल प्रश्नकर्ता झूमा सोलंकी की अनुपस्थिति के चलते कांग्रेस विधायक हिना कांवरे ने सोलंकी के विधानसभा क्षेत्र भीकनगांव में विद्युतीकरण योजनाओं से संबंधित प्रश्न उठाया। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार आदिवासीबहुल इलाकों में इन कार्यक्रमों में राशि खर्च नहीं कर रही। इस पर ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने कहा कि केंद्र से संबंधित योजनाओं से राशि मिलने पर कार्य किया जाएगा।
इस पर सुश्री कांवरे और कांग्रेस के अन्य विधायकों ने आरोप लगाया कि सरकार आदिवासियों के हितों का ध्यान नहीं रख रही, इसलिए आजादी के 75 साल बाद भी इन क्षेत्रों में अंधेरा है। इसे लेकर पक्ष और विपक्ष के बीच तीखी नोंक-झोंक हो गई। इसी बीच विपक्षी कांग्रेस के सदस्यों ने बहिर्गमन कर दिया।
सदन के समवेत होने पर पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और कांग्रेस विधायक एन पी प्रजापति ने आरोप लगाया कि सदन में माइक व्यवस्था के जरिए विपक्ष के सदस्यों के साथ भेदभाव किया जा रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि सत्तारूढ़ सदस्यों के बोलते समय माइक ऑन रहता है, पर जब विपक्ष के सदस्य बोलते हैं तो माइक ऑफ कर दिया जाता है। उन्होंने स्वयं का उदाहरण देते हुए कहा कि उनके साथ भी ऐसा हो रहा है। इसके साथ ही श्री प्रजापति की घोषणा के आधार पर समूचे विपक्ष ने बहिर्गमन कर दिया।