सिलीगुड़ी। पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे ने इस क्षेत्र की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार की नीति आत्मनिर्भर भारत के तहत अपने पांच मंडलों में ‘एक स्टेशन एक उत्पाद’ योजना शुरू की है।
इस योजना के तहत असम की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देने के लिए लुमडिंग मंडल के गुवाहाटी स्टेशन पर असमिया गमोचा की एक दुकान लगाई गई है।
इसी तरह, पश्चिम बंगाल के अलीपुरद्वार स्टेशन पर उस क्षेत्र के काफी प्रसिद्ध और आकर्षक जूट तथा लकड़ी की कलाकृतियों को बढ़ावा देने के लिए स्टाॅल लगाई गयी है।

इसके साथ ही विश्व प्रसिद्ध दार्जिलींग चाय को और अधिक बढ़ावा देने के लिए कटिहार मंडल के दार्जिलींग स्टेशन पर इसकी दुकान लगाई गयी है।
अरुणाचाल प्रदेश की पारंपरिक पोशाक को बढ़ावा देने के लिए रंगिया मंडल नाहरलागुन स्टेशन पर आदिवासी महिलाओं द्वारा पहना जाने वाला पारंपरिक टोपी, गेल तथा आदिवासी पुरुषों की जैकेट का स्टाॅल लगाया गया है।
असम की प्रसिद्ध चाय को तिनसुकिया मंडल के न्यू तिनसुकिया स्टेशन पर प्रदर्शित किया गया है।
उल्लेखनीय है कि इस वर्ष की केंद्रीय बजट में ‘एक स्टेशन एक उत्पाद’ नीति के बारे घोषणा की गई थी। इस योजना का उद्देश्य विभिन्न क्षेत्रों के रेलवे स्टेशनों के माध्यम से स्थीनीय उत्पादों का बढ़ावा देना है।