लखनऊ, भारतीय जनता पार्टी मिशन 2024 को लेकर बेहद गंभीर है। देश को सर्वाधिक 80 सांसद देने वाले राज्य में भारतीय जनता पार्टी अधिक से अधिक सीट लेने के प्रयास में लगी है। इसी को लेकर लखनऊ में आज भारतीय जनता पार्टी उत्तर प्रदेश की बड़ी बैठक है।
उत्तर प्रदेश के नवनियुक्त महामंत्री संगठन धर्मपाल सिंह गाजियाबाद में बैठक करने के बाद मंगलवार को लखनऊ में चार क्षेत्र के पदाधिकारियों की बैठक की अध्यक्षता करेंगे। इस बैठक में संगठन को और मजबूत करने की रणनीति तैयार की जाएगी। धर्मपाल सिंह ने इस बैठक से पहले आज मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से उनके सरकारी आवास पर जाकर भेंट भी की।
लोकसभा चुनाव 2024 की तैयारियों के बीच उत्तर प्रदेश भाजपा के संगठन महामंत्री का दायित्व मिलने के बाद धर्मपाल सिंह मंगलवार को पहली बार पार्टी मुख्यालय पहुंचे। यहां प्रदेशभर के पदाधिकारियों के साथ उनकी पहली बैठक होगी। इसमें परिचय की औपचारिकता के साथ ही नए संगठन मंत्री पदाधिकारियों को चुनावी तैयारी के लिए मार्गदर्शन भी देंगे।
इसमें सभी प्रदेश पदाधिकारी, काशी, ब्रज, पश्चिम और गोरखपुर क्षेत्र के अध्यक्ष व महामंत्री, सभी संगठनात्मक जिलों के अध्यक्ष व प्रभारी बुलाए गए हैं। इसमें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, दोनों उपमुख्यमंत्री और राष्ट्रीय महासचिव सुनील बंसल के भी उपस्थित रहने की संभावना है। दोपहर एक बजे से होने वाली बैठक में परिचय के बाद पार्टी के वरिष्ठ नेता लोकसभा चुनाव की तैयारियों के लिए क्षेत्र और जिलों के पदाधिकारियों को मार्गदर्शन भी देंगे।
भाजपा ने हाल ही में संगठन में बड़े बदलाव करते हुए सुनील बंसल को प्रोन्नत कर राष्ट्रीय महासचिव बना दिया और झारखंड के प्रदेश महामंत्री संगठन धर्मपाल सिहं को बंसल के स्थान पर यूपी का जिम्मा सौंपा है। उनकी नियुक्ति को 12 दिन हो चुके हैं, तभी से उनके लखनऊ आगमन की प्रतीक्षा कार्यकर्ताओं को है। इस बीच धर्मपाल सिंह ने रविवार को गाजियाबाद में पश्चिम और ब्रज क्षेत्र की संगठनात्मक बैठक की, जिसमें प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह के साथ ही दोनों उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक भी शामिल हुए।
लखनऊ के साथ ही प्रदेश के अन्य जिलों में अब क्षेत्रवार बैठकें चलती रहेंगी। धर्मपाल सिंह के साथ परिचय की लखनऊ में मात्र औपचारिक बैठक है। वह यहां विद्यार्थी परिषद में लंबे समय तक काम कर चुके हैं। परिषद में क्षेत्रीय संगठन मंत्री रहे हैं। झारखंड में प्रदेश महामंत्री संगठन बनाए जाने के बाद भी लोकसभा और विधानसभा चुनाव में यहां प्रवास करते रहे हैं। पार्टी जनों से उनका पुराना संपर्क और तालमेल है।