शिमला। केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि ‘वाईब्रेंट विलेज कार्यक्रम’ को सफल बनाने में भारत तिब्बत सीमा पुलिस, भारतीय सेना, गृह व रक्षा मंत्रालय तथा स्थानीय प्रशासन द्वारा संयुक्त प्रयास किए जायेंगे।
सीमावर्ती गांव को विकास की यात्रा में आगे बढ़ाने के उद्देश्य से केंद्रीय सरकार के वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम के तहत आज केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने जिला किन्नौर के पूह उपमण्डल के चांगो गांव का दौरा किया। इस अवसर पर राज्य के बागवानी एवम जनजातीय विकास मंत्री जगत सिंह नेगी भी उपस्थित रहे।
इस अवसर पर केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने चांगो गांव के स्थानीय लोगों, स्वयं सहायता समूहों, आगनवाड़ी कार्यकर्ताओं से वर्तालाप किया और स्वयं सहायता समूहों द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया।
उन्होंने जनता को संबोधित करते हुए कहा कि वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम, केंद्रीय सरकार की एक पहल है, जिसका लक्ष्य भारत के उत्तरी सीमा पर विरल आबादी वाले सीमावर्ती गांवों के बुनियादी ढांचे में सुधार करना है। उन्होंने कहा कि कार्यक्रम के अंतर्गत सीमावर्ती क्षेत्र में अधोसंरचना विकास के तहत आवास, पर्यटन केंद्र, सड़क, विकेंद्रिकित नवीकरणीय ऊर्जा प्रदान करना, इत्यादि शामिल है। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम से जहां विकास को गति प्रदान होगी वहीं स्थानीय लोगों की अर्थव्यवस्था भी सुदृढ़ होगी।
इसके उपरांत, केंद्रीय जल शक्ति मंत्री ने नाको गांव का दौरा किया तथा नाको गांव के लोगों का कुशल-क्षेम जाना। उन्होंने इस अवसर पर कहा कि किन्नौर जिला के जिन क्षेत्रों में पानी की समस्या है उसका निवारण केंद्र व प्रदेश सरकार, साथ मिलकर करेगी।
इस अवसर पर किन्नौर जिला की समृद्ध संस्कृति से केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत को जिला भाषा कार्यालय, महिला मंडल नाको व मलिंग के कलाकरों ने अपनी रंगा-रंग किन्नौरी सांस्कृतिक प्रस्तुति से रू-ब-रू करवाया।
केंद्रीय मंत्री ने इस दौरान जिला के का-डोगरी स्थित सीमा सड़क संगंठन के अधिकारियों के साथ वार्तालाप भी किया।