कंगना रनोट जेल की उस कोठरी में पहुंचीं जहां सावरकर को बंदी बनाकर रखा गया था – Polkhol

कंगना रनोट जेल की उस कोठरी में पहुंचीं जहां सावरकर को बंदी बनाकर रखा गया था

नई दिल्ली,  मणिकर्णिका- द क्वीन ऑफ झांसी और पंगा के लिए बेस्ट एक्ट्रेस का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार जीतने के बाद कंगना रनोट मंगलवार को अंडमान द्वीप पहुंचीं और वहां काला पानी जेल में वीर सावरकर सेल का दौरा किया। कंगना ने अपने अनुभव को तस्वीरों के साथ इंस्टाग्राम पर साझा किया। एक्ट्रेस काल कोठरी को आजादी का सच भी बताया।

कंगना जेल की उस कोठरी में पहुंचीं, जहां सावरकर को बंदी बनाकर रखा गया था। तस्वीरों में कंगना सावरकर की तस्वीर के सामने ध्यान की मुद्रा में बैठी नजर आ रही हैं। वहीं, दूसरी तस्वीर में वो तस्वीर के सामने नतमस्तक दिखायी दे रही हैं। कंगना ने जेल के अहाते की तस्वीर भी साझा की है। जिस सेल में सावरकर को रखा गया था, उसके बाहर एक पट्टिका लगी है, जिस पर लिखा गया है कि विनायक दामोदर सावरकर इस कोठरी में 1911 से 1921 तक रहे थे।

इंस्टाग्राम पर शेयर की गयीं तस्वीरों के साथ कंगना ने लिखा- ”आज अंडमान द्वीप के पोर्ट ब्लेयर में स्थित काला पानी सेल्युलर जेल में वीर सावरकार सेल का दौरा किया। अंदर तक हिल गयी। जब अमानवता अपने चरम पर थी, सावरकर जी के रूप में मानवता ने शीर्ष पर थी और आंखों में आंखें डालकर हर क्रूरता का मुकाबला प्रतिरोध और दृढ़ निश्चय से किया।

उन दिनों उनका कितना डर रहा होगा कि ना सिर्फ उन्हें काला पानी में रखा गया, बल्कि समंदर के बीचोंबीच इस छोटी-सी कोठरी से निकल भागना असम्भव रहा होगा, फिर भी जेल की मोटी दीवारों के बीच जंजीरो में जकड़कर रखा। कल्पना कीजिए उस डर का कि अनंत समंदर के बीच कहीं हवा में गायब ना हो जाएं। कितने कायर थे वो लोग। यह कोठरी आजादी का सच है, ना कि वो जो हमें किताबों में पढ़ाया जाता है। मैंने कोठरी में ध्यान लगाया और वीर सावरकर जी के प्रति अपनी कृतज्ञता और गहरा सम्मान जताया। स्वतंत्रता संग्राम के इस सच्चे नायक को मेरा कोटि-कोटि नमन। जय हिंद।”

सावरकर की 138वीं जयंती पर स्वातंत्र्य वीर सावरकर नाम से एक बॉलीवुड फिल्म का एलान भी किया गया है, जिसका निर्देशन महेश मांजरेकर कर रहे हैं। फिल्म के निर्माता संदीप सिंह हैं।

25 अक्टूबर को कंगना को उनकी फिल्म मणिकर्णिका- द क्वीन ऑफ झांसी और पंगा के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार दिया गया था। समारोह दिल्ली के विज्ञान भवन में हुआ था, जिसमें कंगना ने अपना माता-पिता के साथ शिरकत की थी। कंगना की आने वाली फिल्मों में धाकड़ और तेजस शामिल हैं। उनकी फिल्म थलाइवी ओटीटी प्लेटफॉर्म पर रिलीज हो चुकी है।

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